निगरानी की टीम (Vigilance Team) ने शुक्रवार को भू अर्जन विभाग के प्रधान लिपिक और अमीन को घूस लेते गिरफ्तार कर लिया है। प्रधान लिपिक मनोज रंजन चौधरी व अमीन रामचंद्र को निगरानी अपने साथ ले गई है। बताया जाता है कि दोनों 25-25 हजार रुपये रिश्वत ले रहे थे। इसी दौरान निगरानी ने धावा बोल दिया। इस कार्रवाई से कार्यालय में हड़कंप मच गया है।
मुआवजे की राशि के ली थी रिश्वत
बताया जाता है कि निगरानी पटना की टीम ने डीएसपी सर्वेश कुमार के नेतृत्व में बेगूसराय भू अर्जन कार्यालय में धावा बोला। डीएसपी सर्वेश कुमार ने बताया कि साहेबपुर कमाल थाना अंतर्गत शालीग्रामी निवासी कौशल किशोर सिंह ने 12 जुलाई को निगरानी अन्वेषण ब्यूरो पटना कार्यालय में आवेदन दिया था। इस आवेदन में बताया था कि NH 31 में जमीन जाने के बाद भू अर्जन विभाग की ओर से जमीन का दर निर्धारित कर दिया गया था। उसमें से पांच लाख रुपये उनकी मां के बैंक खाते में भेजे जा चुके हैं। जबकि शेष 33 लाख रुपये उनके बैंक खाते में भेजना था। इसको लेकर नाजिर मनोज कुमार एवं अमीन रामचन्द्र प्रसाद ने क्रमश: 25-25 हजार रुपये रिश्वत मांगा था। कहा कि रुपये देने के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी। काफी दिन आगे-पीछे करने के बाद भी काम नहीं बनने पर कौशल किशोर ने निगरानी की शरण ली।
निगरानी की टीम ने कार्यालय से किया गिरफ्तार
आवेदन देने के बाद निगरानी की टीम ने अपने स्तर से मामले की छानबीन की। सत्यता पाने के बाद शुक्रवार को निगरानी की टीम के डीएसपी सर्वेश कुमार के नेतृत्व में छापेमारी की। इसके बाद नाजिर और अमीन को 25-25 हजार रुपये लेते रंगे हाथ दबोच लिया। टीम में प्रशिक्षु डीएसपी अनिरुद्ध पांडेय, समीरचन्द्र झा, इंस्पेक्टर सत्येन्द्र राम, ईश्वर प्रसाद, सब इंस्पेक्टर आशीष कुमार, देवीलाल श्रीवास्तव, सिपाही मोहन पांडेय, विनोद कुमार शामिल थे।