लखनऊ,(एजेंसी)09 मई। मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा कि यदि टैक्स वसूलने वाले लोग ईमानदार हो जाएं और व्यापारी टैक्स दें तो प्रदेश का सरकारी खजाना भर जाएगा। अधिकारी भी उन व्यापारियों को परेशान करते हैं, जो सही टैक्स देते हैं। उन्होंने व्यापारियों का उत्पीड़न करने वाले अधिकारियों पर कार्रवाई की चेतावनी दी।
अखिलेश यादव शुक्रवार को गोमतीनगर के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में समाजवादी व्यापार सभा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की ओर से आयोजित व्यापारी पंचायत में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि व्यापारियों ने 2012 में सपा की सरकार बनवाई।
हम ऐसी पॉलिसी बना रहे हैं जिससे प्रदेश में उद्योग-व्यापार बढ़े, निवेश आए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरफ इशारा करते हुए उन्होंने कहा कि कुछ लोग ‘मेक इन इंडिया’ की बात कर रहे हैं।
इसी के साथ ‘मेक इन यूपी’ की बात भी होनी चाहिए। प्रदेश और देश में अधिकतम निवेश आना चाहिए। इससे नौजवानों को रोजगार मिलेगा। बाहर के लोग आते हैं तो मुनाफा भी बाहर ले जाते हैं।
स्पीड दुगनी तो अर्थव्यवस्था तीन गुना हो जाएगी
कार्यक्रम में मौजूद कुछ उद्यमियों की तरफ इशारा करते हुए कहा कि इन्हें बड़ा कर दीजिए, ‘मेक इन इंडिया’ हो जाएगा। उन्होंने कानपुर और आगरा के टेनरी व जूता कारोबार का जिक्र करते हुए कहा कि इन शहरों से एक्सपोर्ट से अरबों रुपये का रेवेन्यू मिलता है।
प्रदेश में दूध का कारोबार भी देश के दो-तीन बड़े उद्यमियों के कारोबार से छोटा नहीं है। ऐसी नीतियां लागू करनी होंगी जिनसे व्यापारी, उद्यमी, किसान सभी खुशहाल हों। आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस वे का जिक्र करते हुए कहा कि हम स्पीड बढ़ा रहे हैं। स्पीड दोगुनी हो जाएगी तो अर्थव्यवस्था तीन गुनी बढ़ जाएगी।
सात उद्यमियों को किया सम्मानित
मुख्यमंत्री ने समारोह में सात उद्यमियों को सम्मानित किया। इनमें कानपुर के टेनरी उद्योग से जुड़े पद्मश्री इरशाद मिर्जा, कानपुर के सुरेंद्र गुप्ता (गोल्डी मसाला), बरेली के मस्टर्ड ऑयल कारोबारी घनश्याम खंडेलवाल, नोएडा के बीपी अग्रवाल (प्रियागोल्ड), मुजफ्फरनगर नगरपालिका के चेयरमैन और पेपर इंडस्ट्री से जुड़े पंकज अग्रवाल, सहारनपुर के घी-दूध व्यापारी सुभाष अग्रवाल और मथुरा के बिल्डर श्रीराम अग्रवाल शामिल हैं।
पांच प्रतिशत लगे टैक्स को रुके टैक्स चोरी
व्यापार सभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और वाणिज्य कर सलाहकार समिति के अध्यक्ष हुलाश राय सिंघल ने मुख्यमंत्री के सामने कई मांगें रखीं।
इनमें हैंडलूम की बेडशीट, रजाई-गद्दा के साथ ही गेहूं और अन्य अनाजों को टैक्स फ्री करने, व्यापारी की मृत्यु पर आश्रित को पेंशन देने, प्राथमिकता से व्यापारियों के शस्त्र लाइसेंस बनवाने और पटरी दुकानदारों को राहत देने की मांग शामिल हैं।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में वाणिज्य कर शून्य से 14 प्रतिशत तक है। यदि सभी वस्तुओं पर एक समान पांच प्रतिशत कर लगा दिया जाए तो टैक्स चोरी रुक सकती है।
घोषणा न होने से मायूसी
कार्यक्रम में विभिन्न जिलों से आए व्यापारियों को उम्मीद थी कि मुख्यमंत्री उनके हित में कोई घोषणा कर सकते हैं। कुछ चीजों में टैक्स दरों पर आश्वासन दे सकते हैं, लेकिन सीएम ने कोई घोषणा नहीं की। इससे कुछ व्यापारी नाखुश दिखे।
व्यापार सभा के प्रदेश अध्यक्ष नहीं पहुंचे
सम्मेलन में समाजवादी व्यापार सभा के प्रदेश अध्यक्ष गोपाल अग्रवाल और उनकी टीम के कई प्रमुख लोग नहीं दिखे। एक व्यापारी नेता ने बताया कि कार्यक्रम राष्ट्रीय कार्यकारिणी का था। इसमें प्रदेश अध्यक्ष को बुलावा नहीं भेजा गया था।