बदायूं (उप्र),(एजेंसी) 3 फरवरी । जिले के कटरा गांव में दो नाबालिग चचेरी बहनों के कथित बलात्कार और हत्या के मामले में स्थानीय अदालत मंगलवार को फैसला सुनाएगी।
सुनवाई के दौरान केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को सोमवार को केस डायरी के साथ साथ साक्ष्य सौंपने थे ताकि उसकी ‘क्लोजर रिपोर्ट’ की पुष्टि हो सके। इस रिपोर्ट में कहा गया है कि बदायूं जिले के कटरा गांव की दोनों चचेरी बहनों के साथ बलात्कार नहीं किया गया था और ना ही उनकी हत्या हुई।
स्थानीय पुलिस ने पहले दावा किया था कि दोनों बहनों की कथित रूप से बलात्कार के बाद हत्या की गयी है। अतिरिक्त जिला न्यायाधीश अनिल कुमार ने दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद फैसला कल तक के लिए सुरक्षित रख दिया। पीडि़ताओं के वकील कोकब हसन नकवी ने कहा कि ऐसा लगता है कि तीन सुनवाईयों के बाद भी सीबीआई के पास इस मामले में कोई साक्ष्य नहीं है और वह खुद को बचाने की कोशिश कर रही है। सीबीआई के वकील रजत कुमार ने कहा कि अदालत के आदेश का पालन किया जाएगा। सीबीआई के पास इस मामले में सभी साक्ष्य हैं, जिनके आधार पर ‘क्लोजर रिपोर्ट’ दाखिल की गयी है।
इससे पहले केन्द्रीय जांच एजेंसी ने क्लोजर रिपोर्ट दाखिल की थी, जिसके साथ कोई साक्ष्य संलग्न नहीं था। यह रिपोर्ट पिछले साल 12 दिसंबर को दाखिल की गयी थी, जिसमें दावा किया गया था कि लडकियों ने खुदकुशी की है। एजेंसी ने कहा कि ऐसा कोई फोरेंसिक या परिस्थितिजन्य साक्ष्य नहीं है, जिससे लगे कि बलात्कार और हत्या हुई है, जैसा उत्तर प्रदेश पुलिस की ओर से दर्ज प्राथमिकी में आरोप है। दोनों लडकियों के शव पिछले साल मई में एक पेड से लटके पाये गये थे। लड़कियों के परिजनों का आरोप था कि दोनों बहनों का गांव के ही पांच युवकों ने अपहरण करने के बाद हत्या कर दी।
सीबीआई ने पांचों आरोपियों पप्पू, अवधेश और उर्वेश यादव (सभी भाई) तथा कांस्टेबल छत्रपाल यादव और सर्वेश यादव के खिलाफ आरोप वापस ले लिये। राज्य पुलिस ने पांचों को लड़कियों के कथित बलात्कार और हत्या का मुख्य आरोपी बनाया था।