लखनऊ,एजेंसी-13 जून। सिविल सर्विसेज परीक्षा में ऑल इंडिया टॉप कर राजधानी का नाम रोशन करने वाले आईआईएम के पूर्व स्टूडेंट गौरव अग्रवाल को इंडिया लौटने की चाहत ने ब्यूरोक्रेसी जॉइन करा दी।
तीन साल तक हॉन्गकॉन्ग में ऊंचे पैकेज पर जॉब करने वाले गौरव आईआईएम लखनऊ के भी टॉपर रह चुके हैं और आईआईटी में एक बार फेल हो चुके हैं।2008 के पीजीपी बैच में टॉप करने वाले गौरव ने भी यह नहीं सोचा था कि उन्हें प्रतिष्ठित परीक्षा में पहली रैंक मिलेगी।
मूलत: जयपुर के रहने वाले गौरव अग्रवाल ने एनबीटी से बताया कि आईआईएम में कैंपस प्लेसमेंट के दौरान उन्हें हॉन्गकॉन्ग में जॉब मिल गई।
तीन साल बाद उन्हें लगा कि भारत वापस आना चाहिए। इसके लिए सबसे बेहतर रास्ता ब्यूरोक्रेसी का था। उनके मुताबिक हॉन्गकॉन्ग की जॉब में पैसा तो था, लेकिन मोटिवेशन नहीं था।
अपने लोगों के बीच काम करने और उनके जीवन स्तर को बेहतर करने के लिए आईएएस की कुर्सी चाहिए थी। इसके लिए 2011 में वापस आते ही उन्होंने इसकी तैयारी शुरू कर दी।
पहले ही प्रयास में आईपीएस में सेलेक्ट होने वाले गौरव इस समय आईपीएस ट्रेनिंग अकैडमी हैदराबाद में ट्रेनिंग कर रहे हैं। आईआईटी कानपुर से गौरव ने कंप्यूटर साइंस में बीटेक भी किया है।
गौरव एकेडमिक्स में ही नहीं ऐक्टिंग और स्पोर्ट्स में भी अच्छी पकड़ रखते हैं। फुटबॉल गौरव का फेवरेट गेम है।
अग्रवाल ने बताया कि आईआईटी में पढ़ने के दौरान वह पढ़ाई के प्रति लापरवाह हो गए थे। उन्होंने कहा, ‘मैं फेल हो गया था और मेरी डिग्री को एक्सटेंड करना पड़ा था। यह मेरे लिए एक सबक था। उसके बाद मैंने पढ़ाई पर ध्यान लगाना शुरू किया।’